मंगलुरु-शहर के डोक्टर शिवराम कारंथ सरकार स्कूल में 492 छात्र है जिसमे से सिर्फ चार मुस्लिम छात्र है और वही 15 मुस्लिम छात्राए हैलेकिन कॉलेज में आरएसएस से जुड़े 50 छात्रों ने कैंपस में हिजाब को बैन करने के लियें अभियान चलाया है जिसमे ये लड़के कॉलेज में भगवा शाल पहन के आते हैकॉलेज में चल रहे इस तरह के विरोध प्रदर्शन पर प्रिंसिपल चन्द्रशेखर ने कहा ये लड़के मुस्लिम छात्राओं के हिजाब पहन के कैंपस मेंआने पर बैन लगाने की मांग कर रहे है जिसके लियें इन्होने इस तरह का विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया हैउन्होंने कहा इन लडको ने और भी हिन्दू लडको से भगवा शाल पहने के आने को प्रेरित किया था लेकिन ज़्यादातर छात्रों ने अपने को इनके प्रदर्शन से अलग कर रखा हैकॉलेज प्रशासन का कहना है शाल कॉलेज यूनिफार्म का हिस्सा है कुछ मुस्लिम छात्राए इस शाल को हिजाब के तराह पहनती है अबये मामले सोसल मीडिया पे भी चर्चा का विषय बनगया है कुछ ने इन लडको की हिमायत की है वही ज्यादातर ने आरएसएस से जुड़े इन लडको की निंदा की ह
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Sunday, 4 September 2016
“मैं मन की बात बहुत मन लगा के सुनता हु,राहत इन्दोरी ने मोदी पर कसे तंज।
ज़मीर बोलता है ऐतबार बोलता है
मेरी ज़ुबान से परवरदिगार बोलता है
मैं मन की बात बहुत मन लगा के सुनता हूँ
ये तू नहीं है तेरा इश्तेहार बोलता है
कुछ और काम उसे याद ही नही शायद
मगर वो झूठ बहुत शानदार बोलता है
तेरी ज़ुबान कतरना बहुत ज़रूरी है
तुझे ये मर्ज़ है तू बार बार बोलता है
राहत इन्दौरी की ग़ज़ल तंज कश्ती हुई मोदी पर।
मेरी ज़ुबान से परवरदिगार बोलता है
मैं मन की बात बहुत मन लगा के सुनता हूँ
ये तू नहीं है तेरा इश्तेहार बोलता है
कुछ और काम उसे याद ही नही शायद
मगर वो झूठ बहुत शानदार बोलता है
तेरी ज़ुबान कतरना बहुत ज़रूरी है
तुझे ये मर्ज़ है तू बार बार बोलता है
राहत इन्दौरी की ग़ज़ल तंज कश्ती हुई मोदी पर।
बांग्लादेश: जमात ए इस्लामी के नेता को दी गयी फाँसी
ढाका: बंगलादेशी सरकार ने देश की सबसे बड़ी इस्लामिक पार्टी जमात ए इस्लामी को फाइनेंस करने वाले एक अमीर व्यापारी को फांसी पे चढ़ा दिया है. देश के क़ानून मंत्री मीर क़ासिम अली ने कहा कि 10:35 PM पर उन्हें सज़ा-ए-मौत दी गयी. जमात ए इस्लामी पार्टी के ऊपर देश की सरकार ने “राज द्रोह” का मुक़दमा चलाया था और इसके बाद कई बड़े नेताओं को फांसी दी गयी है. दुनिया भर के मानव अधिकार समर्थकों ने बंगलादेशी सरकार की सख्त आलोचना की ह
इंटरव्यू देकर हीरो बन रहे मोदी असल मे प्रधानमंत्री के नाम पर धब्बा हैं:कांग्रेस
नई दिल्ली:प्रधानमंत्री मोदी के हाल ही दिए गए इंटरव्यू की जहाँ उनके चाहने वाले तारीफों के पुल बाँध रहे है वहीँ विपक्षी दल उनका विरोध कर रहे हैं। कांग्रेस ने प्रधानमंत्री मोदी के दिए गए इंटरव्यू को ‘झूठ’ का पुलिंदा करार देते हुए कहा कि मोदी ने प्रधानमंत्री पद की गरिमा की परवाह किए बिना उन्होंने देश को फिर गुमराह किया है। कांग्रेस के सीनियर स्पोक्समैन आनंद शर्मा ने कहा कि मोदी का यह इंटरव्यू कम और ‘प्रवचन’ ज्यादा था और पूरा इंटरव्यू गलत तथ्यों पर आधारित है। इंटरव्यू में पूछे गए सवाल ऐसे लग रहे थे मानों प्रधानमंत्री कार्यालय द्वारा तैयार किए गए हो। भारत की अर्थव्यवस्था की बात कर रहे मोदी असल में देश के आर्थिक हालात के बारे में बहुत कम जानते हैं। मोदी ने कहा है कि बदले की भावना से काम नहीं कर रहे लेकिन अगर सच में ऐसा होता तो हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के घर पर उस दिन सीबीआई की टीम नहीं पहुंचती जिस दिन उनकी बेटी की शादी हो रही थी। बीजेपी हमेशा कांग्रेस पर निशाने साधने में लगी रहती है।
अयोध्या में किए नरसंहार के लिए मुलायम सिंह और आजम खान को बीजेपी और राम भक्त कतई माफ़ नई करेंगे: साक्षी महाराज
उत्तर प्रदेश के उन्नाव से सांसद और बीजेपी नेता साक्षी महाराज ने ब्यान दिया है कि बीजेपी ऐसी पार्टी है कि अगर बीजेपी विरोधी भी इस पार्टी में शामिल होने की इच्छा जाहिर करें तो उनका भी स्वागत करेंगे। फिर चाहे मायावती, सोनिया गाँधी या मुलायम सिंह यादव क्यों न हो हम उनका भी तहे-दिल से स्वागत करेंगे और बीजेपी को इससे भी कोई ऐतराज भी नहीं होगा। लेकिन अयोध्या में हुए नरसंहार को हम और राम भक्त सूरज चांद रहने तक आजम खान और मुलायम सिंह यादव को माफ़ नहीं करेंगे।
G-20 से पहले सऊदी के प्रिंस मोहम्मद और एरदोगन की मुलाक़ात से सियासी हलचल तेज़
हन्ग्ज़्हौ, चीन: जी-20 शिखर वार्ता से पहले सऊदी के डिप्टी क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने तुर्की के राष्ट्रपति रजब तय्यिप एरदोगन से मुलाक़ात की.इस मुलाकात को सियासी पंडितों की नज़र से बहुत ही अहम् माना जा रहा है ,Facebook पर हमारे पेज को लाइक करने के लिए क्लिक करेंचीन में होने वाली इस शिखर वार्ता से पहले हुई दोनों नेताओं की मुलाक़ात की एहमियत इसलिए भी बढ़ जाती है क्यूंकि दोनों मुल्क सीरिया में चल रहे ग्रह युद्ध में सक्रीय भूमिका निभा रहे हैं. कल से शुरू होने वाली शिखर वार्ता में 19 देश भाग लेंगे जिसमें भारत, अर्जेंटीना, ऑस्ट्रेलिया, संयुक्त राज्य अमरीका, तुर्की, कनाडा, जर्मनी, इटली, इंडोनेशिया, जापान, साउथ कोरिया, मेक्सिको, रूस, फ़्रांस, ब्राज़ील और इंग्लैंड जैसे देश शामिल हैं. इस शिखर वार्ता में सीरिया युद्ध बातचीत का एक बड़ा मुद्दा हो सकता है.
शोक में उज्बेकिस्तान, राष्ट्रपति “इस्लाम करिमो” सुपुर्द-ए-खाक
समरकंद। उजबेकिस्तान के राष्ट्रपति इस्लाम करिमोव शनिवार को अपने गृहनगर समरकंद में सिपुर्दे खाक कर दिए गए। समरकंद हवाई अड्डे से कब्रिस्तान तक सड़क के दोनों ओर गम में डूबे लोग अपने नेता के आखिरी दर्शन के लिए खड़े थे। उनके निधन पर तीन दिन के शोक की घोषणा की गई है। 78 साल के करिमोव का शुक्रवार को निधन हो गया था। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी, रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा, संयुक्त राष्ट्र महासचिव बान की मून सहित दुनिया भर के नेताओं ने उनके निधन पर शोक जताया है।उनके जनाजे में रूसी प्रधानमंत्री दमित्री मेदवेदेव, तजाकिस्तान के राष्ट्रपति ई रखमोन, तुर्कमेनिस्तान के राष्ट्रपति जी बर्दीमुखमेदोव, किर्गिस्तान, बेलारूस और कजाखिस्तान के प्रधानमंत्री भी शामिल हुए।उल्लेखनीय है कि करिमोव 1989 से उजबेकिस्तान के राष्ट्रपति थे। वह इस पद को सोवियत संघ से अलग होने के पहले से संभाल रहेथे। तीन करोड़ 20 लाख की आबादी वाले इस देश के करीब आधे लोग उनके सत्ता में आने के पाद पैदा हुए हैं।
आखिर मुस्लिम क़ौम इतनी बड़ी तादाद में अनपढ़ क्यों?
दिल्ली : मुस्लिम क़ौम के बारे में भारत में इतनी रिपोर्ट आ चुकी फिर भी मुस्लिम क़ौम इनसे अंजान बने फिर रहे हैं, चाहे वो सहचर की रिपोर्ट हो या फिर कोई और रिपोर्ट अब खबर आ गई कि भारत में सबसे अधिक अनपढ़ भी मुस्लिम हीहैं. लेकिन क्यों? भारत के मुसलमानों का दीन और दुनिया के बीच जो सामंजस्य बिठाना चाहिए था वह उतना अच्छा नहीं है जितना अन्य देशों में है. शायद उनके पिछड़ेपन की वजह भी यही है. इसीलिए 2011 की जनगणना के जो आंकड़े आ रहे हैं उनमें मुसलमानों के पिछड़ेपन की कहानी कुछ ज्यादा ही नुमायां हो रही है. अभी इस खबर को गुजरे ज्यादा दिन भी नहीं हुए थे कि भारत का हर चौथा भिखारी मुस्लिम है, अब यह खबर आ गईकि भारत में सबसे अधिक अनपढ़ भी मुस्लिम ही हैं. जनगणना के ताजा आंकड़े बताते हैं कि भारतमें 42.72 प्रतिशत से अधिक मुसलमान अनपढ़ हैं और सबसे कम निरक्षर सिर्फ 13.57 फीसदी जैन समुदाय के लोग हैं. यह भी अजीब इत्तेफाक है कि सबसे कम पढ़े लिखे और सबसे अधिक पढ़े लिखे, दोनों ही अल्पसंख्यक हैं. देश में 25.7 प्रतिशत जैन समुदाय के लोग ग्रैजुएट हैं जबकि मुसलमानों में इनका फीसद सिर्फ 2.8है. ईसाइयों में 8.8 फीसदी लोग ग्रैजुएट हैंऔर सिक्ख 6.4 प्रतिशत ग्रैजुएट हैं.भारत की आबादी में मुसलमान 14.23 फीसदी हैं जबकि भिखारियों की आबादी में उनकी हिस्सेदारी 24.9 प्रतिशत बनती है. सच्चर आयोग की रिपोर्ट पहले ही बता चुकी है कि भारतमें मुसलमानों की हालत दलितों से भी बदतर हो चुकी है. प्रसिद्ध लेखक असगर वजाहत ने इस बारे में बड़ा वाजिब सवाल उठाया है. वह कहते हैं कि आखिर इतनी बड़ी संख्या में मुसलमान अनपढ़ क्यों हैं. उनके अनुसार उत्तर भारत का मुस्लिम समाज विभिन्न धार्मिक मसलकों और मतों में इतना अधिक विभाजित कर दिया गया है कि उनके बीच संवाद की स्थिति ही नहीं बनती. हर मसलक और मत को मानने वाले केवल अपने धर्म गुरुओं की बात सुनते हैं. गुजरात में सबसे अधिक फिरकों और मसलकों में बंटे मुसलमान हैं. वजाहत कहते हैं कि अपवाद हो सकते हैं पर मुस्लिम धर्मगुरु शिक्षा पर बहुत अधिक बल नहीं देते क्योंकि शिक्षा प्राप्त व्यक्ति धर्मांधता से बाहर निकल आता है और मौलवी यह नहीं चाहते हैं कि उनकी पकड़ से उनके अनुयायी बाहर आए क्योंकि उनके मानने वालों की जितनी अधिक संख्या होती है वे चुनाव की राजनीति में उतना अधिक मोलतोल करते हैं.एक बड़ा सवाल यह भी है कि शिक्षित मुस्लिम मध्यमवर्ग मुसलमानों की शिक्षा का कोई बड़ा कार्यक्रम क्यों नहीं चलाता है. असगर वजाहत कहते हैं कि आजादी के बाद जन्मी यह पहली मुस्लिम पीढ़ी है जो मध्यम वर्ग बनी है. नए मध्यम वर्ग बनने के कारण उसके अंदर एक प्रकार का आत्मसंतोष और स्वार्थ पैदा हो गयाहै. वह दूसरों की चिंता किए बगैर आत्मकेंद्रित हो गई है. दूसरी तरफ मुस्लिम व्यापारी वर्ग प्रायः धन कमाने और धन के प्रदर्शन पर विश्वास करता है. ऐसी स्थिति में मुस्लिम समाज में शिक्षा के प्रति जागरूकता फैलाने का काम बहुत कठिन हो गया है.लेकिन यह भी सही है कि कुछ समय बाद यही वर्ग समाज को दिशा देने का काम करेगा. हालांकि कि कुछ लोग और संस्थाएं इस दिशा में काम कर रही हैं, पर उनका काम काफी नहीं है. यह स्थिति उत्तर भारत के मुसलमानों की है इसमें दक्षिणभारत के मुसलमानों को शामिल नहीं किया जा सकता है यह बात सभी को पता है कि ऐतिहासिक कारणों से उत्तर और दक्षिण भारत के मुसलमानोमें बहुत सामाजिक अंतर है, धार्मिक भी और सामाजिक भी.समाजशास्त्री प्रोफेसर राजेश मिश्र इस बात को दूसरे ढंग से कहते हैं कि उनके बीच चलाए जा रहे अधिकांश कार्यक्रम मजहबी चोले से बाहर नहीं आ पा रहे हैं. हो भी रहा है तो मदरसों का आधुनिकीकरण. आधुनिक शिक्षा के लिएमुस्लिम इलाकों में जो काम होना चाहिए वह नहीं हो पा रहा है और यह काम मुसलमानों के सहयोग के बिना मुमकिन भी नहीं है.लखनऊ के प्रसिद्ध समाजसेवी तारिक सिद्दीकी कहते हैं कि मुसलमानों की तालीम का काम बड़े पैमाने पर मुस्लिम संस्थाएं शुरु करती हैं लेकिन कुछ समय बाद वह संस्थाएं धार्मिक कामों में ज्यादा दिलचस्पी दिखाने लगती हैं.जाहिर है कि उन पर सामाजिक दबाव काम करता है. हालांकि वह यह भी कहते हैं कि अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी, जामिया मिल्लिया इस्लामिया, जौहर यूनिवर्सिटी और इसी तरह की दूसरी मुस्लिम शैक्षिक संस्थाओं में जाकर इस बात का अहसास होता है कि मुसलमानों में शैक्षिक रुझान बहुत तेजी से बढ़ रहा है. हां, यह काम अभी पिछले दस पंद्रह वर्षों में ही शुरू हुआ है तो इसके नतीजे भी दस पंद्रह साल के बाद दिखने लगेंगे.ब्लॉगः एस. वहीद
इमाम और धर्मगुरुओं पर हमले किए गए तोआर-पार की लड़ाई के लिए मजबूर होना पड़ेगा-आज़म खान
रामपुर । स्वार में आयोजित जनसभा जनसभा में सूबे के कद्दावर मंत्री आजम खां ने पीएम मोदी पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने कहा की प्रधानमंत्री ने पाकिस्तान जाकर देश के सम्मान को ठेस पहुंचाई है। सीमा पर सैनिकों का खून बह रहा है और हमारे पीएम पाकिस्तान केप्रधानमंत्री की मां के पैर छू रहे हैं। कश्मीर मुद्दे पर शनिवार को आजम ने कहा कि वहअब उन्हें देश का प्रधानमंत्री बना दें तो हफ्ते भर में दोनों कश्मीर एक कर देंगे।Facebook पर हमारे पेज को लाइक करने के लिए क्लिक करेंउन्होंने कहा कि आरएसएस मुख्यालय के इशारे पर मीडिया उनके चरित्र हनन करने का प्रयास कर रहा है। ऐसे हमले सियासतदानों तक तो बर्दाश्त हो सकते है, लेकिन इमाम और धर्मगुरुओं पर हमले किए गए तो आर-पार की लड़ाईके लिए मजबूर होना पड़ेगा। भाजपा और संघ के मुख्यालय से इशारा होते ही ऐसी घिनौनी साजिशें हुई कि हमारे धर्मगुरुओं पर एक अखबार के जरिये अय्याशी के कारोबार के नाम पर उनका चरित्र हनन किया जाने लगा। धर्मगुरुओं के खिलाफ यह साजिशें बर्दाश्त नही होंगी।
गौ-रक्षा के नाम पे आतंक का नया मामला: चिकन-फ़ीड को गाय का गोश्त समझ कर जला डाला ट्रक
भोपाल: एक बार फिर गौ-रक्षकों के नाम पर आतंक फैलाने की घटना सामने आई है. मध्य प्रदेश की क़ानून व्यवस्था जैसे चरमरा सी गयी है, रोज़ एकनयी वारदात सुनने को आती है. ताज़ा मामला है ज्होरा गाँव का जहां पर मुर्गीयों के चारे को गाय का गोश्त समझ कर गौ-आतंकियों ने एक ट्रक को जला दिया. लोकल पुलिस इंस्पेक्टर एच सी लाडिया ने इस मामले में सख्त कार्यवाही की बुनियाद पर दो गौ-आतंकियों को गिरफ़्तार कर लिया. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार ये लोग बजरंग दल से जुड़े हुए थे लेकिन पुलिस ने अभी इस मामले में कुछ भी कहने से इनकार कर दिया है. इस मामले में बबलू ठाकुर और गौरव ठाकुर नाम के दो कथित गौ-आतंकियों को गिरफ़्तार किया गया है. ये ट्रक उत्तर प्रदेश के लिए रवाना था. ट्रक के मालिक राजेश जैन ट्रक के केबिन से किसी तरह भागे लेकिन उन्हें इन गौ-आतंकियों की भीड़ ने पकड़ लिया और उनको बुरीतरह मारा. कुछ ही मिनटों में उग्र गौ आतंकियों ने ट्रक में आग लगा दी.देश में जिस तरह से गौ-रक्षा के नाम पर आतंक बढ़ रहा है वो एक सोचने का विषय बन गया है और मध्य प्रदेश जैसे राज्यों में जहां क़ानून व्यवस्था बहुत कमज़ोर दिखती है वहाँ इनका क़हरबरपा है.
अर्नब गोस्वामी के न्यौते पर सहवाग का करारा जवाब, कहा फालतू लोगों के लिए वक़्त नही
नई दिल्ली:हाल ही में ब्रिटिश पत्रकार पियर्स मॉर्गन रियो ओलंपिक में भारतीय प्रदर्शन का मजाक उड़ाने के बाद काफी सुर्खियों में रहे थे। जिसके लिए मॉर्गन का भारतीय लोगों और कई भारतीय सेलेब्रिटीज ने जमकर विरोध भी किया था। मॉर्गन ने सोशल मीडिया साइट पर लिखा था कि 121 करोड़ लोगों के देश में सिर्फ दो मेडल्स आने का जश्न मनाया जा रहा है। यह भारतीयों के लिए बहुत हीशर्मनाक है। इस मुद्दे पर बोलते हुए मॉर्गन यह तक कह गए थे कि मैं 1 मिलियन डॉलर की शर्त लगा सकता हूं कि भारत के अगला गोल्ड जीतने सेपहले इंग्लैंड वनडे वर्ल्ड कप जीत लेगा। मंजूर है?इस मामले पर मॉर्गन को खरी-खरी सुनाने के लिएभारतीय क्रिकेटर विरेंद्र सहवाग मॉर्गन के सवालों का जवाब दिया कि “भारत पहले ही 9 गोल्ड जीत चुका है मगर इंग्लैंड ने एक भी वर्ल्ड कप नहीं जीता और रही बात मिलियन डॉलर की तो हमारा कोहिनूर तुम पर पहले ही उधार है।इसी मुद्दे पर बहस करने के लिए सहवाग को न्यूज चैनल टाइम्स नाउ के पत्रकार अर्नब गोस्वामी ने उन्हें The NewsHour शो में पियर्स मॉर्गन पर बहस करने के लिए न्यौता भेज जिसे शानदार अंदाज़ में सहवाग ने अपनाने से इंकार कर दिया। सहवाग ने इसका जवाब ट्विटर पर देते हुए लिखा कि अर्नब गोस्वामी चाहते हैं कि मैं पियर्स मॉर्गन को लेकर NewsHour शो पर भारत के विचार रखूं, मगर वह शख्स (पियर्स) इस काबिल नहीं कि उसके लिए शो पर बहस की जाए। इसलिए मैंने मना कर दिया। सहवाग का यह ट्वीट लोगों को खूब भाया और ट्विटर पर भी काफी वायरल हुआ।
मुसलमानों के हक़ में सामने आईं ममता; मुहर्रम के लिए दुर्गा पूजा के वक्त में किया बदलाव
कोलकाता:इस साल हिंदुओं के त्यौहार दुर्गा पूजा जोकि कोलकाता में बहुत ही धूम-धाम से मनाया जाता है और मुसलमानों का त्यौहार मुहर्रम एक साथ ही आ रहे हैं। जिसके चलते शहरमें कोई सांप्रदायिक तनाव पैदा न हो इसलिए बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मुहर्रम के मौके पर मुसलमानों के तुष्टीकरण के लिए दुर्गा विसर्जन के वक़्त में कुछ बदलाव किया है और हिंदुओं को मूर्ति विसर्जनदशहरे के दिन दोपहर 4 बजे के अंदर करने के लिए कहा है।Facebook पर हमारे पेज को लाइक करने के लिए क्लिक करेंइस मुद्दे पर विपक्षी दलों ने ममता के फैसले पर विरोध जताते हुए कहा है कि ऐसा ‘फतवा’ निकालकर ममता ने हिंदुओं की धार्मिक परंपराओं को पैरों तले कुचलने का काम किया है और दूसरी तरफ विरोध और हिन्दुओं के क्रोध से बचने के लिए राज्य के दुर्गा उत्सव मंडलों को दान देने का लालच दिखाया है। मुसलमानों की बैठक बुलाकर उनको मुहर्रम के वक़्त को बदलने का अनुरोध क्यों नहीं किया। गौरतलब है कि ममता बनर्जी ने पिछले साल भी इसी तरह का आदेश दिया था।
आज़म खान के छोटे बेटे अब्दुल्ला अपने हाथ आजमाएंगे चुनाव मैदान मे !
लखनऊ। सपा के वरिष्ठ नेता आज़म खान के छोटे बेटे अब्दुल्ला आज़म खान भी चुनाव मैदान में उतरने वाले हैं। पिता ने रामपुर के स्वार टांडा विधानसभा क्षेत्र से उनके चुनाव लड़ाने को ज़मीन तैयार किया है। आज़म खान का कहना है कि वह बेटे को टिकट दिलाने के लिए पार्टी के मुखिया मुलायम सिंह और मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से भी बात करेंगे।टिकट मिलेगी अथवा नहीं यह तो वक्त आने पर पताचलेगा, पर स्वार टांडा में अब्दुल्ला को लेकर सरगर्मी तेज़ है। क्षेत्र को बैनर पोस्टर से पाट दिया गया है। उनके समर्थक, कार्यकर्ता भी सरगर्म हैं। एमटेक कर चुके बेटे अब्दुल्ला को शनिवार को आज़म खान ने इलाके के एक कार्यक्रम में लांच किया। इस बारे में पूछे गए एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि वह अपनी पार्टी के अनुशासितसिपाही हैं । बेटे को टिकट देने को लेकर वह मुलायम सिंह और अखिलेश से भी बात करेंगे। वैसे, अब्दुल्ला काफी पहले से पिता के चुनाव क्षेत्र में एक्टिव हैं। पार्टी में भी उनकीकाफी पहचान है। यही वजह है कि उनके प्रचार प्रसार में समाजवादी के युवा कार्यकर्ता अधिक लगे हुए हैं।अब्दुल्ला क्षेत्र में जनसभाएं और जनता से मुलाकात भी कर चुके हैं।
सयाजीराव यूनिवर्सिटी में BJP का क़िला ध्वस्त,NSUI ने ABVP को दी करारी शिकस्त
वड़ोदरा: नेशनल स्टूडेंट यूनियन ऑफ इंडिया नेमहाराजा सयाजीराव विश्वविद्यालय के छात्र संघ उपाध्यक्ष और महासचिव पद पर हुए चुनावोंमें जीत दर्ज की।कांग्रेस की छात्र इकाई के उम्मीदवारों ने अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद उम्मीदवारों को हराया।दो वर्ष के अंतराल के बाद वाषिर्क चुनाव हुए जिसमें 36,115 विद्यार्थियों में से 22,000 ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। एनएसयूआई के हितेश बत्रा को विश्वविद्यालय छात्र संघ का महासचिव चुना गया। उन्होंने अभाविप उम्मीदवार शुभम कौल को हराया जबकि सिमरन मोदी को हराकर एनएसयूआई की प्रियंका पटेल ने उपाध्यक्ष पद पर कब्जा जमाया।
मोदी लहर को मार गया लकवा,मायावती के समर्थको के आगे पड़ा फीका मोदी का क्रेज़।
उत्तर प्रदेश:साल 2014 जब भारत में लोकसभाचुनावों का दौर था और प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार बने मोदी ने खूब सारी रैलियां करने पर जोर पकड़ा हुआ था और उनकी रैलियों मेंखूब भीड़ जमा होती थी। मोदी जानते थे कि लोग कांग्रेस से तंग आए हुए हैं तो उन्होंने इस बात का खूब फायदा उठाते हुए झूठ बोल-बोलकर लोगों को अपनी ओर खींचा। इलाहबाद में हुई मोदी की एक रैली में भीड़ देखकर कहा गया था कि इतनी भीड़ शायद किसी रैली में कभी नही हुई और न होगी। लेकिन अब लोग अब मोदी के झूठ को अच्छी तरह समझ चुके हैं। सूत्रों का कहना है कि इलाहाबाद में मायावती की महारैली में एक दिन पहले से ही जिस तरह से भीड़ पूरे शहर में बसपा के समर्थन में इकट्ठा हो गई उससे साफ हैकि मायावती ने मोदी की रैली का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। लाखों की तादाद में जमा हुई भीड़ देखकर लग रहा है कि यूपी की जनता मायावती को अपना नेता बनाना चाहती है। ऐसी रिकॉर्डतोड़ भीड़ को देखकर विरोधी पार्टियों के होश उड़ गए है।
मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड का पक्ष झूठा और महिला विरोधी है- भारतीय मुस्लिम महिला आंदोलन
नई दिल्ली। ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड की ओर से तीन तलाक एवं बहुविवाह के संदर्भ में उच्चतम न्यायालय में दिए गए हलफनामे को लेकर देश की कुछ प्रमुख मुस्लिम महिला अधिकार कार्यकर्ताओं ने इस प्रमुख मुस्लिम निकाय पर निशाना साधते हुए आज कहा कि इसका रूख गुमराह करने वाला, इस्लाम विरोधी और महिला विरोधी है। उन्होंने एक साथतीन तलाक और बहुविवाह पर रोक लगाने की मांग की और कहा कि अदालती दखल से महिलाओं को उनके वो अधिकार मिलने चाहिए जो शरीयत एवं कुरान में उनको दिए गए हैं।Facebook पर हमारे पेज को लाइक करने के लिए क्लिक करेंभारतीय मुस्लिम महिला आंदोलन की संस्थापक नूरजहां सफिया नियाज ने भाषा से कहा, पर्सनल लॉ बोर्ड ने अदालत के समक्ष जो बातें कीं वो संविधान विरोधी, इस्लाम विरोधी और महिला विरोधी हैं। यह बहुत दुखद स्थिति है। हमारी मांग है कि देश की सबसे अदालत दखल दे और मुस्लिम महिलाओं को उनका हक दिलाए। इस्लामिक नारीवादी शीबा असलम फहमी का कहना है कि बोर्ड ने देश की सबसे बड़ी अदालत में जो पक्ष रखा है तो झूठा और महिला विरोधी है। उन्होंने कहा, पर्सनल लॉ बोर्ड ने जो हलफनामा दिया है उसमें अजीबो-गरीब तर्क दिए हैं। उसका पक्ष झूठा और महिलाओं के खिलाफ है। उसने महिलाओं को कमजोर के तौर पर पेश करने की कोशिश की है। महिलाएं सिर्फ अपना वो हक मांग रही हैं जो उनको शरीयत और कुरान ने दिए हैं।
कश्मीर के बेकाबू हालात मोदी सरकार की देन: मायावती
लखनऊ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज बसपा सुप्रीमो मायावती के निशाने पर रहे। उन्होंने कश्मीर की बिगड़ी स्थिति के लिए सीधे मोदी सरकार को जिम्मेदार ठहराया। उनहोंने इलाहबाद में अपार जनसमूह को सम्बोधित करते कहा कि केंद्र की भाजपा सरकारकी लापरवाहियों से ही वहां के हालात बेकाबू हैं। मायावती का यह बयान ठीक उस समय आया है, जब केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह के नेतृत्व में एक सर्वदलीय टीम कश्मीर के हालात का जायज़ लेने वहां गई हुई है।उन्होंने सर्वजन हिताय,सर्वजन सुखाय रैली को संबोधित करते हुए भाजपा पर ताबड़ तोड़ हमले किए।मायावती ने बीजेपी सरकार की तमाम योजनाओं कोधन्नासेठों को फायदा पहुँचाने वाला बताया। केंद्र की स्मार्ट सिटी योजना को भी इसी श्रेणी में रखा।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधतेहुए कहा कि उन्होंने अब तक जमीनी स्तर पर कोईकाम नहीं किया है। लोकसभा चुनाव से पहले विदेश से कालाधन वापस लाकर आम जनता के एकाउंट में 15-20 लाख रुपया जमा करने का भरोसा दिलाया था, जो अबतक कोरा वादा ही है। यूपी को 24 घंटे बिजली देने की बात कही गई थी, उसे भी पूरी नहीं की गई।भाजपा सरकार में मजदूर किसन की दशा ख़राब हुई है। तरह तरह के बहाने से मुस्लिम प्रताड़ित किए जा रहे हैं। दलित उत्पीड़न भी थम नहीं रहा। आजादी के इतने साल बाद भी दलितों का उत्पीड़न नहीं रुका है। हिन्दू मुस्लिम दंगा करा कर मजदूरों को नुकसान पहुँचाया जा रहा है। केंद्र ने आरक्षण को भी निष्प्रभावीबना दिया है। केंद्र सरकार धीरे-धीरे अपना काम प्राइवेट सेक्टर को सौंप रही है, जहाँ आरक्षण का लाभ गरीबों को नहीं दिया जाता। दलितों और पिछड़ों को आरक्षण से वंचित रखने की साजिश चल रही है।Facebook पर हमारे पेज को लाइक करने के लिए क्लिक करेंअपने दो दिवसीय दौरे के क्रम में केंद्र सरकार को घपले घोटाले से पाक बताने पर मायावती ने भाजपा अध्यक्ष अमित शाह की भी खिल्ली उड़ाई। इस क्रम में उन्होंने मध्यप्रदेश के व्यापमं घोटाला व विजय माल्या घोटाले का खास तौर से ज़िक्र किया।उन्होंने अपने सम्बोधन में प्रदेश की सपा सरकार और कांग्रेस को भी निशाने पर रखा। कहा कि कांग्रेस की हालत खराब है। उसे यूपी में सीएम कैंडिडेट नहीं मिला तोदिल्ली से बुजुर्ग महिला को सीएम कैंडिडेट बना दिया। कांग्रेस आज अपनी गलत नीतियों से सत्ता से बाहर है।उन्होंने यूपी में माफिया, गुंडों और अपराधियों का राज बताया। कहा कि यूपी में डकैती, रेप, मर्डर और जमीन पर अवैध कब्जे जैसे संगीन अपराध चरम पर हैं। भाजपा ने भीआपराधिक छवि वाले को अपना प्रदेश अध्यक्ष बनाया है। उनहोंने बसपा छोड़ कर भाजपा में शामिल हुए स्वामी प्रसाद मोर्य के बारे में कहा कि टिकट लेने की लालच में पार्टी की अदलाबदली की है। ये व्यक्तिगत स्वार्थ के लिए कुछ भी कर सकते हैं। मीडिया पर निशाना साधते हुए कहा कि सर्वे कराने वाले अखबार, चैनल धन्नासेठों के हैं।ये बसपा विरोधी पार्टियों के प्रभाव में हैं। बसपा राज आने पर सभी को नतीजे भुगतने होंगे। दयाशंकर मामले पर कहा कि समय आने पर उचित कार्रवाई कीजाएगी। रविवार को यहाँ परेड ग्राउंड में जनसभा को संबोधित करने मायावती करीब डेढ़ बजेपहुंचीं। इसके लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए थे। इसमें तीन जिलों के लोग शामिल हुए।
Jio के विज्ञापन को लेकर पीएम मोदी का उडा मज़ाक, लोगों ने वोडाफोन के विज्ञापन वाले कुत्ते से की तुलना!
नई दिल्ली: पीएम मोदी का रिलायंस जियो के विज्ञापन में संभावित ब्रांड ऐम्बेसडर के तौर मार्केट में आने के बाद से ही सोशल मीडिया उनकी कडी आलोचना और मज़ाक उडाया जा रहा है ।सोशल मीडिया पर लोंगो ने मोदी के पूर्व में दिये बयान जिसमें कि उन्होंने गुजरात दंगों में मारे मुसलमानों को लेकर पूँछे गये एक सवाल के जवाब में दिये गये उत्तर जिसमें उन्होंने कहा था कि “कुत्ते का पिल्ला अगर गाडी के नीचे आजाये तो दुख होता है ” को quote करते हुये सोशल मीडिया पर लोगों ने लिखा कि मोदी जी कल तक जिन मुसलमानों की तुलना कुत्ते से किया करते थे वे आज स्वंय रिलायंस जियो के प्रमोशन के लिये वोडाफोन केब्रांड ऐम्बेस्डर कुत्ते की प्रतिस्पर्धा करते नज़र आ रहे हैं । सोशल मीडिया पर लोगों ने पीऐम मोदी की आलोचना करते हुये यहाँ तक लिखा कि समय बहुत बलवान जो व्यक्ति पूर्व में मुसलमानों की तुलना कुत्ते से करता था आज वो स्वंय उसी श्रेणी में खडा है । पी ऐम मोदी के लिये इस्तेमाल होने वाले शब्द Namo पर भी लोगों ने चुटकी लेते हुये लिखा है कि Namo का अर्थ Narendr Modi नहीं बल्कि Neeta Ambani’s Marketing Officer है ।
अलगाववादी नेताओं ने ओवैसी, शरद यादव और येचुरी से मिलने से किया इंकार
श्रीनगर। पिछले दो महीने से कश्मीर में जारीहिंसा के बीच आज सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल कश्मीर पहुंचा. श्रीनगर में आज सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल ने सीएम महबूबा मुफ्ती से मुलाकात की . वहीं प्रतिनिधिमंडल ने विपक्ष के नेता उमर फारूक से मुलाकात कर राज्य के ताजा हालत के संदर्भ में चर्चा की. उधर बैठक के बाद कश्मीर में चार नेताओं के समूह ने अलगाववादी नेताओं से मुलाकात करने का फैसला किया. जहां यासिन मलिक छोड़कर बाकी नेताओं ने मिलने से इंकार कर दिया. सैयद गिलानी ने शरद यादव, डी राजा, सीताराम येचुरी से मिलने से इंकार कर दिया.सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल के चार विपक्षी सांसदों ने आज समूह को छोडते हुए अलगाववादियों से अलग से मिलने का फैसला किया. माकपा के महासचिव सीताराम येचुरी, भाकपा नेता डी राजा, जदयू नेता शरद यादव और राजद के जयप्रकाश नारायण आयोजन स्थल से निकलगए जहां गृह मंत्री राजनाथ सिंह के नेतृत्व में सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल विभिन्न समूहों एवं लोगों से मिला. ये नेता वहां से हुर्रियत नेता सैयद अली शाह गिलानी से मिलनेउनके घर चले गए जो वहां नजरबंद हैं लेकिन खबरहै कि हुर्रियत नेता गिलानी ने इन नेताओं से मिलने से इंकार कर दिया.सांसदों के हुर्रियत नेता मीरवाइज उमर फारुक, जेकेएलएफ के प्रमुख यासीन मलिक और जम्मू-कश्मीर डेमोक्रेटिक लिबरेशन फ्रंट केनेता शब्बीर शाह से भी मिलने की संभावना है. मीरवाइज इस समय चश्मे शाही उप कारागार में बंद हैं जबकि बाकी दोनों नेता हुमामा में बीएसएफ के शिविर में हिरासत में कैद हैं.सांसदों के हुर्रियत के पूर्व नेता अब्दुल गनी भट्ट से भी मिलने की संभावना है.
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